ज्वैलरी और होम डेकोर प्रोडक्ट इंडियन हैंडीक्राफ्ट इंडस्ट्री को करते हैं डायवर्सिफाई: लियो शास्त्री

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नई दिल्ली। इंडियन हैन्डीक्राफ्ट इंडस्ट्री शहरी और ग्रामीण क्षेत्रों में सबसे बड़ी रोजगार देने वाली इंडस्ट्री उषा एक्सिम प्रा लि के डायरेक्टर मिस्टर लियो शास्त्री ने कहा कि ज्वेलरी और घर की सजावट के प्रोडक्ट्स को पुनर्जीवित करना होगा क्योंकि यह इंडियन हैंडीक्राफ्ट इंडस्ट्री को बूस्ट करेगा।

यह हमारे देश के एक्सपोर्ट और विदेशी कमाई में महत्वपूर्ण योगदान देता है। बीते कुछ सालों में इंडियन हैंडीक्राफ्ट इंडस्ट्री को भारत में कुटीर उद्योग का दर्जा मिला है, लेकिन हाल के समय में इसने आशाजनक डेवलपमेंट दिखाया है और प्रमुख रिवेन्यु जनरेटर के रूप में उभरा है।

इसने पिछले कुछ वर्षों में 15-20% की दर से निरंतर डेवलपमेंट को दिखाया है।

शास्त्री ने कहा, “ हैंडीक्राफ्ट यूनीक अभिव्यक्ति हैं और यह देश के एक कल्चर, परंपरा और विरासत का प्रतिनिधित्व करती हैं। हैंडीक्राफ्ट इंडस्ट्री महत्वपूर्ण प्रोडक्टिव सेक्टर है। राज्य और क्षेत्रीय समूह हैण्डक्राफ्ट एक्सपोर्ट में महत्वपूर्ण योगदान देते हैं।

इंडियन हैंडीक्राफ्ट इंडस्ट्री सात मिलियन से अधिक क्षेत्रीय कारीगरों और 67,000 से अधिक एक्सपोर्टर/इम्पोर्टर हाउसेस रीजनल आर्ट और क्राफ्टमैंनशिप को डोमेस्टिक और ग्लोबल मार्किट में प्रमोट करते हैं।

कोरोनावायरस महामारी के चलते, रिटेल सेल्स, ज्वेलरी और घर के सजावट के प्रोडक्ट के एक्सपोर्ट पर ज्यादा प्रभाव पड़ा, लेकिन सरकार को ज्वेलरी और होम डेकोर प्रोडक्ट के एक्सपोर्ट को फिर से पटरी पर लाने के लिए कदम उठाने चाहिए और प्रोडक्ट और प्रोत्साहन दर में वृद्धि होनी चाहिए ताकि एक्सपोर्टर हैंडीक्राफ्ट प्रोडक्शन में लगे इनपुट लागतों को रिकवर कर सकें।”

उषा एक्सिम प्रा लि मल्टिपल प्रोडक्ट्स हाई फैशन ट्रेड ज्वेलरी की बहुत बड़ी रेंज जैसे हार, झुमके, चूड़ियाँ, कंगन और अन्य गहने जो मेटालिक मैटेरियल, लकड़ी, सींग, हड्डी, चमड़े, मोतियों और कांच से बने सभी प्रकार के आउटफिट्स को एक्सपोर्ट करते हैं।

ज्वेलरी के अलावा उषा एक्सिम प्रा लि के सबसे ज्यादा बिकने वाले प्रोडक्ट बैग, बेल्ट, स्कार्व्स, होम फर्निशिंग और गारमेंट है। इनकी 95% आमदनी यूएस, जर्मनी और ऑस्ट्रेलिया जैसे देशों में इन प्रोडक्ट को एक्सपोर्ट करने पर होती है। बाकी की 5% आमदनी डोमेस्टिक सेल्स से होती है।

शास्त्री ने कहा, ” उषा का ज्वेलरी वर्कशॉप दिल्ली और पड़ोस के राज्यों में है। ये वर्कशॉप बुरी तरह से नुकसान खाए प्रोड्यूसर को पूरी ट्रांसपरेंसी और अकाउंटीबिलिटी के साथ उनके लिए मौका क्रिएट करते हैं।

औरतें और पुरुष प्रोड्यूसर मेनस्ट्रीम वर्ल्ड मार्किट के लिए फेयरली कवर्ड एथिकल ज्वेलरी को सोसली रिस्पोंसिबल होके प्रोड्यूस करने में लगे हुए हैं।

किसी भी प्रोडक्ट के प्रोडक्शन में कोई भी बच्चा या अन्य तरह की चाइल्ड लेबर एक्टिविटी शामिल नहीं है।”

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